
अशाेक यादव, लखनऊ। उत्तर प्रदेश पुलिस के विशेष कार्य बल ने रविवार को पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया और उसकी छात्र इकाई सीएफआई के दिल्ली स्थित ठिकानों पर छापेमारी की। पुलिस के अनुसार पीएफआई के कथित सदस्यों से पूछताछ में मिले अहम सुराग के आधार पर विशेष कार्य बल ने छापेमारी की है।
यूपीएसटीएफ के महानिरीक्षक अमिताभ यश ने बताया,“मथुरा जिले के माट थाने में दर्ज एक मामले की विवेचना एसटीएफ द्वारा की जा रही है। एसटीएफ ने पुलिस हिरासत में लिए गए अभियुक्तों से पूछताछ की और उनसे प्राप्त सूचना के आधार पर अदालत से तलाशी वारंट प्राप्त कर आज दिल्ली स्थित पीएफआई और सीएफआई के ठिकानों पर तलाशी एवं जब्ती की कार्रवाई की जा रही है।”
पुलिस के अनुसार पिछले वर्ष 5 अक्टूबर को मथुरा जिले से पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया एवं उसके सहयोगी संगठन कैम्पस फ्रंट ऑफ इंडिया से जुड़े चार लोगों को गिरफ्तार किया गया था। चारों हाथरस जा रहे थे।
पुलिस ने इनके पास से मोबाइल फोन, लैपटॉप व भड़काऊ साहित्य बरामद करने का दावा किया था। तब उत्तर प्रदेश सरकार ने हाथरस में दलित युवती से कथित सामूहिक दुष्कर्म और उसकी मौत के मामले को लेकर कुछ संगठनों द्वारा सांप्रदायिक हिंसा फैलाने की साजिश रचने का भी दावा किया था।
इस दावे के बाद खुफिया एजेंसियां चौकन्नी हो गई और हाथरस आने-जाने वालों पर नजर रखी जा रही थी। हाथरस के बहुचर्चित मामले के बाद वहां सांप्रदायिकता फैलाने की साजिश के आरोप में गिरफ्तार किए गए पीएफआई के कथित सदस्य एवं पांचवें आरोपी रउफ शरीफ को पिछले दिनों अदालत ने पांच दिन की पुलिस अभिरक्षा में भेजा था। रऊफ शरीफ़ पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया की छात्र शाखा सीएफआई का राष्ट्रीय महासचिव बताया जाता है।
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