
अशाेेेक यादव, लखनऊ। भारतीय सेना प्रमुख जनरल मनोज मुकुंद नरवणे जमीनी हालात का जयाजा लेने के लिए दो दिन के दौरे पर मंगलवार को लेह पहुंच गए हैं।
वहां उन्होंने ने मिलिट्री हॉस्पिटल में बहादुर सैनिकों से मुलाकात की और उनका हालचाल जाना। सेना प्रमुख ने उनका हौसला बढ़ाते हुए कहा कि आपने बढ़िया काम किया। लेकिन अभी काम पूरा नहीं हुआ है।
जनरल नरवने का यह दौरा ऐसे समय में है। जब पूर्वी लद्दाख क्षेत्र में चीन के साथ अत्यधिक तनाव बना हुआ है और वहां एक सप्ताह पहले चीन की पीपल्स लिबरेशन आर्मी के साथ हिंसक संघर्ष के बाद वास्तविक नियंत्रण रेखा से कुछ मीटर की दूरी पर हजारों की संख्या में भारतीय सैनिक तैनात हैं। वहीं सोमवार को दोनों देशों के बीच बातचीत हुई और इस बीच मंगलवार को सेना प्रमुख एम. एम. नरवणे लेह पहुंचे।
सूत्रों के मुताबिक सोमवार को हुई कोर कमांडर स्तर की बैठक के दौरान भारत ने चीन से एलएसी से सैनिकों की वापसी के लिए समय सीमा मांगी है। गलवान घाटी में खूनी झड़प के बाद दोनों देशों के सैन्य अधिकारियों के बीच यह बड़ी बातचीत हुई।
इसका मकसद एलएसी पर पहले वाली स्थिति को बनाए रखना है। बता दें कि 15 जून के हिंसक झड़प में भारतीय सेना के 20 जवान शहीद हो गए थे। वहीं चीन के 40 से ज्यादा सैनिक ढेर हो हुए थे।
जिसके बाद से गलवान घाटी तथा पैंगोंग त्सो इलाकों में तनाव बना हुआ है। भारत ने लद्दाख में वास्तविक नियंण रेखा के 826 किलोमीटर के दायरे में अपनी तरफ तैयारियों को भी बढ़ा दिया है।
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